स्वतंत्रता दिवस 2016
उपस्थित सज्जनो, शिक्षकगण और मेरे सहपाठियो! आज 15 अगस्त के इस महत्वपूर्ण अवसर पर मुझे कुछ कहने का अवसर प्राप्त हुआ है, इसलिए मैं आपसबों का आभारी हूँ।
15 अगस्त, 1947 के बाद आज ७० साल बीत गए हैं। हम हर साल इस दिन अपने देश की आजा दी का उत्सव मनाते हैं। दो-ढाई सौ सालों की लम्बी ग़ुलामी से आज़ादी पाने में हमारे देश के लाखों लोगों की जानें गई हैं। अंग्रेजों से पहली लड़ाई लड़ने वाले बंगाल के नवाब सिरा जुद्दौला से लेकर भगतसिंह, चंद्रशेखर आजाद जैसे कई शहीदों की कुर्बानी देकर हमारे देश को 1947 में आजादी मिल पाई।
आज जब हमारे देश में आदर्श के नाम खिलाड़ी, फ़िल्मी सितारे और अमीर उद्योगपति सामने हैं, तब शहीदों की चमक फीकी पड़ती मालूम हो रही है। ज़रूरत है इस बात की कि भगतसिंह को हमारे बीच आदर्श के रूप में ठीक से स्थापित किया जाए।
भगतसिंह से प्रेरणा लेकर इस देश, विश्व और मानवता के लिए कुछ करने की ज़रूरत है।
धरती हरी भरी हो आकाश मुस्कुराए
जय हिंद! जय मानवता!
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